शासन ने दूध का दाम, खेती की उपज के दाम का ही हिस्सा मानकर, तत्काल बढ़ाना ज़रूरी है। उन्हें लागत का डेढ़ गुना दाम लेने का अधिकार है। मुंबई, पूना के शहरवासी, आन्दोलन में शामिल किसानों, पशुपालनों की ज़मीन सरकार द्वारा छीनने, उन्हें घाटे का सौदा रखकर धोखा देने और उनके बच्चों को भूखे-नंगे रखने की इस साज़िश को समझकर इस आन्दोलन को समर्थन ज़ाहिर करें।
युवा बुज़ुर्ग अपने-अपने फेसबुक, ट्विटर के या अन्य माध्यमों से अपनी सह्भावना करें और सरकार को झुकाएं। आज तक पिये या उपयोग में लिए दूध के एक-एक बूँद को याद करे, यह जरूरी है।
भागीरथ धनगर देवीसिंह तोमर रणवीर तोमर गौरी शंकर हरिओम कुमावत कैलाश यादव